आज ये जो लीडर उनकी शहादत पर घड़ियाली आँसू बहा कर उनकी असामयिक मौत पर भी अपना फायदा लेने की सोच रहे हे, इन्ही लीडरों ने साहू जी समेत कई हज़ारो पी यू सी वालों को जब आरसीएम चल रही थी तभी जीतेजी मार दिया था,
यह एक निष्पक्ष आरसीएम मंच ब्लॉग हे जहाँ RCM से लाभार्थी और पीड़ित दोनो ही पक्ष अपनी बात खुल के बोल सकते हें और एक दूसरे की टिप्पणियों का माकूल जवाब दे सकते हें. इस ब्लॉग की ज़रूरत इसलिये पड़ी क्योकि वर्तमान में नेट पर उपलब्ध अन्य सभी ब्लॉग एक साजिश के तहत RCM के पक्ष की ही बात को अपने ब्लॉग पर रख रहें हें, इनमें से कई अवसरवादियों ने तो हमारी मजबूरी से कमाई करने का ज़रिया लुभावने गूगल एडसेंस, विजापनों आदि को अपने ब्लॉग, साइट पर दे कर बना लिया हे और हमारे हर क्लिक पर वे 25/- से 100/- रूपए कमा रहें हें, अन्तह वे निष्पक्ष नहीं हे, जिससे आख़िर RCM का सच, हक़ीकत क्या हे आम जनता या डिसट्रिब्युटर नहीं जान पा रहा हे, इसी सच को सामने लाने का हमारा यह छोटा सा प्रयास हे, आप RCM से मिले अपने सच्चे अनुभव, जानकारी को पूरे देश को सारगर्भित भाषा में बताएँगे. ध्यान रहे कि इस प्लेटफोर्म पर आपके कमेन्ट बे-बुनियाद न हो और अपने कमेन्ट के लिए आप स्वंय जिम्मेवार होंगे, इस ब्लॉग का आर सी एम् कंपनी, मालिको, लीडरों आदि से कोई संबध नहीं हे. धन्यवाद.
यदि आप RCM में अपने स्वयं के साथ घटित कोई घटना, खबर, सबूत इस ब्लॉग में पोस्ट के तौर पर देना चाहते हो या हमें उसकी जानकारी देना चाहते हो तो उसे ई-मेल पता: rcmmanch@gmail.com पर अपना व शहर का नाम + पिनकोड, मोबाईल नंबर के साथ भेजे जिसे यथासंभव इस ब्लॉग पर यदि आप चाहेंगे तो केवल आपके नाम के साथ पोस्ट के तौर पर स्थान दिया जा सकेगा. आपका नाम, ई-मेल आई डी व मोबाईल नंबर वेलिड व वेरिफाइड होनी चाहिए.
Tuesday, 15 May 2012
श्री नवीन साहू, आरसीएम पी यू सी होल्डर ने आख़िर किन परिस्थितियो के कारण हताश हो कर आख़िरी रास्ता आत्महत्या का चुना? यह आत्महत्या थी या हत्या?
आज ये जो लीडर उनकी शहादत पर घड़ियाली आँसू बहा कर उनकी असामयिक मौत पर भी अपना फायदा लेने की सोच रहे हे, इन्ही लीडरों ने साहू जी समेत कई हज़ारो पी यू सी वालों को जब आरसीएम चल रही थी तभी जीतेजी मार दिया था,
Sunday, 13 May 2012
कहते हे आदमी का विपत्ति में पड़ने पर उसका चेहरा ही उसका असली दर्पण होता हे
कहते हे आदमी का विपत्ति में पड़ने पर उसका चेहरा ही उसका असली दर्पण होता हे.
जेल में बंद क्रांतिकारियों का चेहरा इतना निस्तेज और ओजहिन् नहीं होता, इस फोटो में दिखाया गया चेहरा सिर्फ और सिर्फ ठगों, चोरो का ही हो सकता हे.
T C जेल में भी बेठा-बेठा घाटे को और बड़ी ठग स्कीम से कवर करने की सोच रहा हे, राम का नाम लेने की जगह, अंत इससे बड़ा बनिया कौन होगा?
टी सी खुद कह रहा हे कि अब प्रोडक्ट आधारित बिजनस होगा, तो फिर पहले स्कीम, चिटफंड आधारित ही था.
और वे खुद मान रहे हे कि प्रोडक्ट की क्वालिटी अब बेहतर होगी, यानि की पहले घटिया ही थी.
RCM पर कार्यवाही क्यों हुई, सच्चाई जानने के लिए CBI जाँच हो
क्योकि SOG के पास इतना पावर नहीं हे जितना की CBI के पास हे.
CBI द्वारा जाँच होगी तो एक-एक करके इनके सारे काले-कारनामे आम जनता के सामने आ जायेंगे कि केसे इस ठग ने करोडो लोगो को बड़ी ही आसानी से लुटा, और इस कदर भावनाओं के जाल में बांधा की ये लोग उस दो कोडी के ठग को महान संत समझने लगे हे।
इसका लोयालती बोनस प्लान, स्कीम पूरी तरह से चिट-फंड, पिरामिड स्कीम के तरीके से ठगी पर आधारित था.
1 का 100 गुना करने का लालच दिया जा रहा था, उसमे भी लूट मचा रखी थी, यानि 500 रु लगाओ 57000 रु पाओ, और 500 रु भी लगाने के लिए करीब 4000 रु की कीमत का घटिया सामान करीब 8000 रु में खरीदो,
Monday, 7 May 2012
"बुरा किया तो बुरा मिलेगा, अच्छा किया तो अच्छा मिलेगा"
यही बात तो भाई में आपको समझाना चाहता हूँ. आप लोग क्यों उस भगवान् के न्याय को गलत ठहराने पर तुले हे, भगवान् के न्याय के खिलाफ धरना दे रहे हे, आन्दोलन कर रहे हे. बड़ी मुश्किल से तो भगवान् की अब जा कर आँखे खुली हे उन्हें अब इतने लम्बे समय बाद जा कर समझ में आया कि जिसे उन्होंने त्रिलोक चन्द यानि तीनो लोको का स्वामी बना कर प्रथ्वी पर भेजा था वह क्या-क्या तीन-तिगाड़े कर रहा था. जनता उसके अत्याचारों से कराह रही थी.
Sunday, 6 May 2012
RCM चालु भी होगी तो उलटे मुह के बल गिरेगी यह तय हे, कंपनी का मासिक बिजनस साप-सीढ़ी के खेल की तरह 99 से 3 पर आ जाएगा
संभावना यह भी हे कि अगर कंपनी चालू हो गयी तो 90% शॉप, PUC वाले हकीकत में अपना शॉप सरेंडर करने वहा जायेंगे और जो भी काट-कूट के मिलता हे कंपनी से निकालने की कोशिश करेंगे, नयी शॉप फिलहान कोई लेने आयेगा नहीं और कंपनी का मासिक बिजनस साप-सीढ़ी के खेल की तरह 99 से 3 पर आ जाएगा और सब लोग टी सी जी की तरफ देखेंगे की वे कैसे उसे वापस शीघ्र 99 पर लाते हे लेकिन अब उनकी चालबाजियों का खेल चलेगा नहीं, अब कई नियम-अधिनियम लागु होंगे और वे RCM फेल होने का ठीकरा अपने सर पर फोड़ना नहीं चाहेंगे अन्तह सारी गणनाए करने के बाद टी सी जी को इसे नहीं चलाने में ही फायदा नजर आयेगा, हम उनकी असली मंशा को नहीं जान कर उन्हें अपनी जी-जान लगा कर जेल से रिहा करायेंगे और वे अपनी संपतिया बेच कर ठाट की जिंदगी बिताएंगे. उन्हें पहले भी हमारी दुर्दशा पर कोई अफ़सोस नहीं था और अब तो वे घडियाली आंसू भी नहीं बहायेंगे।